देशभर के शहरों में चौराहों पर भीख मांगते नजर आने वाले बच्चों और महिलाओं का मामला आज राज्यसभा में गंभीर चर्चा का विषय बना। भारतीय जनता पार्टी (BJP) के राज्यसभा सांसद मदन राठौड़ ने इस मुद्दे को उठाते हुए बताया कि चौराहों पर भीख मांगने वाले कई बच्चों को उनके असली माता-पिता से छीन लिया गया है या फिर उन्हें किराए पर लेकर इस धंधे में धकेल दिया गया है।
चर्चा के दौरान मदन राठौड़ ने खुलासा किया कि देश में बच्चों की चोरी के कई मामले दर्ज हैं, जिनमें से बहुत से बच्चों को आज तक वापस नहीं पाया जा सका है। इन बच्चों का इस्तेमाल भीख मांगने के लिए किया जा रहा है, जो कि एक बड़े आपराधिक गिरोह का हिस्सा हो सकता है।
गिरोह पर कार्रवाई और महिलाओं के लिए रोजगार की मांग
भाजपा सांसद मदन राठौड़ ने चौराहों पर भीख मांगने को एक संगठित धंधा बताते हुए सरकार से अनुरोध किया कि इस अपराध में शामिल गिरोहों की जांच कर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। इसके साथ ही, उन महिलाओं को रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने का भी निवेदन किया गया, जो इस अपराध में लिप्त पाई गई हैं।
उन्होंने कहा कि महिलाओं और बच्चों को इस अमानवीय स्थिति से निकालकर उन्हें एक बेहतर जीवन देने की जिम्मेदारी सरकार की है। रोजगार के अवसर प्रदान करके इन महिलाओं को मुख्यधारा में शामिल किया जा सकता है, जिससे वे सम्मानजनक जीवन जी सकें और अपने बच्चों को सुरक्षित वातावरण में पाल सकें।