जयपुर, 7 अक्टूबर। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने राज्य में जल परियोजनाओं को गति देने के लिए सोमवार को एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में उन्होंने निर्देश दिया कि जाखम बांध को जयसमंद बांध से जोड़ने की डीपीआर (Detailed Project Report) आगामी चार माह में पूरी होनी चाहिए। मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि प्रदेश में नदियों की इंट्रास्टेट लिंकिंग का काम तेज़ी से हो और जन सहभागिता से जल संचय को बढ़ावा दिया जाए।
भजनलाल शर्मा ने कहा कि जल संसाधन, सिंचाई, और पेयजल की उपलब्धता राज्य सरकार की शीर्ष प्राथमिकताओं में से एक है। उन्होंने सभी संबंधित परियोजनाओं की नियमित मॉनिटरिंग और समय पर क्रियान्वयन सुनिश्चित करने पर भी बल दिया।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया कि माही बेसिन की जाखम नदी के जल को जयसमंद बांध से जोड़ने के लिए परियोजना रिपोर्ट (DPR) चार माह में तैयार की जाए। इसके साथ ही, माही और सोम नदी के अधिशेष जल को जवाई बांध तक पहुंचाने का काम जल्द पूरा हो। उन्होंने कहा कि ब्राह्मणी नदी पर बांध निर्माण कार्य में तेजी लाई जाए ताकि परियोजनाओं में अनावश्यक विलम्ब न हो और प्रभावित लोगों को उचित मुआवजा मिले।
बैठक में लापरवाही पर सख्त कार्रवाई के दिए निर्देश
मुख्यमंत्री ने बैठक के दौरान विभिन्न जल परियोजनाओं की समीक्षा करते हुए ठेकेदारों और अधिकारियों को चेतावनी दी कि किसी भी प्रकार की लापरवाही या देरी पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने ईसरदा और डूंगरी बांध के निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण और मुआवजा वितरण का काम जल्द शुरू करने के भी निर्देश दिए।
सिंचाई और पेयजल परियोजनाओं में जल्द सुधार पर ध्यान
वहीं सीएम भजनलाल शर्मा ने परवन परियोजना सहित 500 करोड़ रुपए से अधिक लागत वाली परियोजनाओं की प्रगति पर भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि जल संग्रहण और जल आपूर्ति के लिए बांध और नहर निर्माण के काम को एकसाथ पूरा किया जाए ताकि परियोजनाओं की लागत में अनावश्यक वृद्धि न हो।
सीएम ने स्थानीय योजनाओं को दी प्राथमिकता
मुख्यमंत्री ने इंदिरा गांधी नहर पर बने चार प्राकृतिक डिप्रेशन्स को जलाशयों में बदलने की योजना की समीक्षा की और इसे स्थानीय योजनाओं के साथ जोड़ने पर जोर दिया। उन्होंने बाह्य ऋण द्वारा संचालित परियोजनाओं की गुणवत्ता सुनिश्चित करने और केन्द्रीय योजनाओं की समीक्षा भी की।
ईआरसीपी परियोजना की समीक्षा (ERCP issue) बैठक में मुख्यमंत्री ने नीमराणा और घिलोट औद्योगिक क्षेत्रों को पेयजल और औद्योगिक जल आपूर्ति के लिए ईस्टर्न राजस्थान कैनाल परियोजना (ईआरसीपी) के लाभ पहुंचाने के निर्देश दिए। उन्होंने देवास परियोजना तृतीय और चतुर्थ के विकास कार्यों में भी तेजी लाने पर जोर दिया।
इस महत्वपूर्ण बैठक में जल संसाधन मंत्री सुरेश सिंह रावत, अतिरिक्त मुख्य सचिव अभय कुमार सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।