चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री गजेन्द्र सिंह की पहल पर वर्षों से लंबित स्वास्थ्य सेवाओं से जुड़े महत्वपूर्ण प्रकरणों का निस्तारण किया जा रहा है। इससे चिकित्सा के क्षेत्र में करियर के इच्छुक युवाओं को नर्सिंग शिक्षा के लिए बेहतर अवसर मिल सकेंगे। उनके लिए रोजगार के अधिक अवसर उपलब्ध होंगे। साथ ही, प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का सुदृढ़ीकरण होगा। उल्लेखनीय है कि चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा लगभग 7 साल बाद वर्ष 2022 में निजी क्षेत्र में नवीन नर्सिंग संस्थानों की स्थापना के लिए विज्ञप्ति जारी की गई थी, लेकिन उस पर यथोचित निर्णय तथा गंभीरतापूर्वक काम नहीं होने से नर्सिंग कॉलेजों की स्थापना का मार्ग प्रशस्त नहीं हो सका। इस संबंध में कई वाद न्यायालय में भी दायर हुए और कानूनी पेचीदगियों में फंसने के चलते नर्सिंग कॉलेजों की स्थापना नहीं हो सकी।
चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री गजेन्द्र सिंह के ध्यान में यह प्रकरण आने के बाद उन्होंने इस पर गंभीरतापूर्वक कार्यवाही प्रारंभ की। इसके बाद न्यायालय में विचाराधीन प्रकरणों के निस्तारण के संबंध में लगातार विभागीय बैठक आयोजित कर न्यायिक प्रकरणों का निस्तारण किया जा रहा है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव श्रीमती शुभ्रा सिंह ने बताया कि इससे नर्सिंग शिक्षा एवं स्वास्थ्य सेवाओं में व्यापक सुधार होगा और आमजन को बेहतर चिकित्सा सुविधाएं सुलभ हो सकेंगी।