जम्मू-कश्मीर। विधानसभा का पहला सत्र शुरू होते ही पाकिस्तान और उसकी खुफिया एजेंसी आईएसआई बुरी तरह से बौखला गए हैं। खुफिया एजेंसी से मिले इनपुट के अनुसार, पाकिस्तान ने अपने आतंकवादी संगठनों को आदेश दिया है कि वे कश्मीर में आम नागरिकों से लेकर राजनेताओं तक पर बम धमाके करें और दहशत फैलाएं। विशेष रूप से श्रीनगर और उसके आसपास के इलाकों को आतंकियों ने निशाने पर लिया है। हालांकि भारतीय सेना और सुरक्षा बलों ने भी आतंकियों के हर मंसूबे को नाकाम करने के लिए अपनी तैयारियां पूरी कर ली हैं।
निशाने पर सात इलाके
जम्मू-कश्मीर के कुपवाड़ा, बारामूला, गंधरवाल, बडगाम, पुलवामा, शोपियां और कुलगाम जिले आतंकियों के टारगेट पर हैं। आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद, हिजबुल मुजाहिदीन और उनके सहयोगी टीआरएफ को खास निर्देश दिए गए हैं कि वे सुरक्षा बलों के कैंप, सरकारी काफिले, गैर-कश्मीरी नेताओं की सभाओं, सरकारी इमारतों, कश्मीरी पंडितों और अल्पसंख्यकों को निशाना बनाएं। खुफिया एजेंसी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पाकिस्तान नहीं चाहता कि कश्मीर में शांति और विकास हो, यही वजह है कि पिछले कुछ दिनों में करीब आठ बड़े आतंकी हमले किए गए हैं।
आतंकियों का मकसद
आतंकियों का मकसद कश्मीर में दहशत फैलाकर यह झूठा संदेश देना है कि कश्मीर की जनता मौजूदा गणतंत्र को नहीं चाहती। जबकि वास्तविकता यह है कि कश्मीर की आम जनता का इन घटनाओं से कोई संबंध नहीं है। हाल ही में श्रीनगर के पास मारा गया आतंकी भी पाकिस्तानी नागरिक था।
सुरक्षा बलों की तैयारियां
विधानसभा सत्र के दौरान संभावित आतंकी हमलों को रोकने के लिए सुरक्षा बलों ने पूरी तरह से कमर कस ली है। खुफिया एजेंसियां सक्रिय हैं, और किसी भी आतंकी खतरे को नाकाम करने के लिए ऑपरेशन तेज कर दिए गए हैं। सुरक्षा बल आने वाले दिनों में और आतंकवादियों को घेरकर मार गिराने की योजना बना रहे हैं।